सरकार द्वारा तीन तलाक को लेकर कानून भले ही सख्त कर दिए गए हो लेकिन इसके बावजूद 3 तलाक के मामले कम होने का नाम नहीं ले रहे हैं। ताजा मामला मेरठ का है। जहां एक पति ने बेखौफ तरीके से अपनी पत्नी को सरेराम 3 तलाक दे दिया वो भी ठीक थाने के सामने। क्या है पूरा मामला बताते हैं।
पुलिस थाने के बाहर पति ने पत्नी को दिया ट्रिपल तलाक
घटना मेरठ के लिसाड़ी गेट थाना क्षेत्र की है, जहां बुलंदशहर निवासी उवैश ने अपनी पत्नी गुलिस्ता को थाने के गेट पर तीन तलाक दे दिया। दोनों के बीच लंबे समय से विवाद चल रहा था। मामला बढ़ता देख पुलिस ने उवैश को हिरासत में लिया, लेकिन बाद में दोनों पक्षों के बीच समझौता हो गया।
पति-पत्नी के बीच क्या था विवाद?
उवैश और गुलिस्ता का निकाह डेढ़ साल पहले हुआ था। शादी के कुछ समय बाद ही उवैश सऊदी अरब चला गया, जहां वह बतौर ड्राइवर काम करता है। गुलिस्ता का आरोप है कि उवैश ने उसे भी साथ ले जाने का वादा किया था, लेकिन बाद में वह अपने वादे से मुकर गया। इसी को लेकर दोनों के बीच विवाद बढ़ता चला गया।
पत्नी ने दर्ज करवाई थी शिकायत
9 मार्च को गुलिस्ता ने लिसाड़ी गेट थाने में उवैश और उसके परिवार के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई थी। पुलिस ने दो दिन बाद उवैश और उसके भाई अब्दुल्ला को हिरासत में ले लिया। इसी दौरान गुलिस्ता के समर्थन में वार्ड पार्षद मुस्तफा भी थाने पहुंचे, जहां उन्होंने उवैश और अब्दुल्ला को लात मार दी। इससे माहौल गरमा गया और थाने के बाहर बहस शुरू हो गई। इसी दौरान गुस्से में आकर उवैश ने तीन तलाक दे दिया।
पंचायत ने कराया समझौता
मामला बढ़ने पर दोनों पक्षों के बीच पंचायत बुलाई गई, जिसमें यह तय हुआ कि उवैश निकाह से जुड़े सामान और मेहर की रकम लौटाएगा। पंचायत के फैसले के बाद दोनों पक्षों ने सहमति से तलाक ले लिया। लिसाड़ी गेट थाना प्रभारी सुभाष चंद्र गौतम ने बताया कि चूंकि दोनों पक्ष आपसी सहमति से अलग हो गए, इसलिए किसी ने कोई कानूनी कार्रवाई की मांग नहीं की। हालांकि, सार्वजनिक स्थान पर हंगामा करने के आरोप में उवैश का शांति भंग की धाराओं में चालान किया गया। अगर महिला पक्ष आगे शिकायत दर्ज कराता है, तो पुलिस तीन तलाक और दहेज उत्पीड़न के तहत मामला दर्ज कर सकती है।